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Showing posts from August 20, 2017

कागज की पहली नाओ ©

कागज  की  पहली  नाओ बनाना  मुझको मेरी  नानी  ने  सिखलाया! अपने  नाम  का  मतलब  मुझको , नानू ने  बतलाया! कहती  है  माँ  मेरे  जिद्दी  होने  की, वजह  है  उन  दोनों  का मेरी,  जिद्द  पूरी  करना! नानू  के  प्यार  दुलार  ने  मुझको, उड़ना  आज़ाद  सिखाया .  नानी  के  संस्कार  ने  मुझको ईश्वर  का  अर्थ  बताया . गणित  के  पहले  प्रश्न   हल  करना नानू  ने  था  सिखाया . तो  बाल बनाना  ,चोटी करना नानी  ने  सिखलाया! मेरी  हर  ख्वाहिश  का  ख्याल उन  दोनों  को  था  रहता . भूल गयी मैं , अपनी  ही  बातें मगर  उन्हें  याद  सब  रहता जाने  कितने  साल  पहले  मैंने , नानी  से  मांगी  थी  इक  पाजेब अब  पाजेब...